मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क सुदृढ़ीकरण एवं प्रबंधन कार्यक्रम से पथों को मिलेगा नया जीवन
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार सरकार ग्रामीण सड़कों के सुदृढ़ीकरण को नई रफ्तार देने में जुट गई है। ग्रामीण कार्य विभाग ने मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क सुदृढ़ीकरण एवं प्रबंधन कार्यक्रम को लागू कर दिया है। यह कार्यक्रम मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क उन्नयन योजना का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 14 नवम्बर 2024 को स्वीकृति दी थी।

PATNA : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार सरकार ग्रामीण सड़कों के सुदृढ़ीकरण को नई रफ्तार देने में जुट गई है। ग्रामीण कार्य विभाग ने मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क सुदृढ़ीकरण एवं प्रबंधन कार्यक्रम को लागू कर दिया है। यह कार्यक्रम मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क उन्नयन योजना का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 14 नवम्बर 2024 को स्वीकृति दी थी। इसका उद्देश्य राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित पथों का लंबे समय तक सुदृढ़ीकरण और प्रभावी रख रखाव करना है।
31 मार्च 2024 तक पंचवर्षीय रूटिन अनुरक्षण (मॉनिटरिंग) अवधि से 13 हजार 452 ग्रामीण पथ बाहर हो गए थे।इन पथों की कुल लंबाई 23 हजार 541 किलोमीटर है। इसके रख रखाव की प्रशासनिक स्वीकृति दी गई है। इन पथों को इस वर्ष जून तक पॉटलेश यानी गड्ढा मुक्त करने का लक्ष्य रखा गया है। इसके अलावा वित्तीय वर्ष 2025-26 में इन्हें सतह तक पूरी तरह से मजबूत करने का काम किया जा रहा है।
इस कार्यक्रम के तहत पथों का दो बार कालीकरण किया जाएगा, ताकि उनकी सतह मजबूत तथा राइडिंग क्वालिटी बनी रहे। योजना का एक और अहम पहलू यह है कि सभी संवेदकों को रूरल रोड रिपेयर व्हीकल रखने का निर्देश दिया गया है, ताकि किसी भी प्रकार की त्रुटि का तत्काल समाधान किया जा सके और पथ उपयोगकर्ताओं को यात्रा के दौरान कोई असुविधा न हो।
राज्य सरकार ने यह सुनिश्चित किया है कि हर वित्तीय वर्ष के बाद पंचवर्षीय अनुरक्षण अवधि से बाहर हुए पथों का चयन कर उन्हें फिर से उन्नत किया जाएगा, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क नेटवर्क की गुणवत्ता और स्थायित्व बनी रहे। इस कदम से न केवल ग्रामीणों को बेहतर यात्रा का अनुभव मिलेगा, बल्कि राज्य में सड़क निर्माण के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव आ रहा है।