जवानी में किया था होमगार्ड के लिए अप्लाई, अब बुढ़ापे में लिया जा रहा फिजिकल टेस्ट...

हर रोज तैयारी के लिए तकरीबन 500 लोग स्टेडियम आते हैं. सबका कहना है कि सरकार ने उनके साथ गलत किया है. जवानी में भर्ती निकालकर, बुढ़ापे में परीक्षा ली जा रही है. ऐसे में सरकार या तो फिजिकल टेस्ट की तारीख बढ़ाए या फिर दौड़ के समय अवधि को बढ़ाए.

जवानी में किया था होमगार्ड के लिए अप्लाई, अब बुढ़ापे में लिया जा रहा फिजिकल टेस्ट...

NBC24 DESK:- शायद फिल्मों में अक्सर अपने देखा होगा कि पुलिस की सेवा में बहाल एक मिडिल एज आदमी अपनी नौकरी बचाने के लिए जूझते रहता है. शरीर और ताकत साथ नहीं देते हैं. इसके बावजूद वह दौड़ता है, भागता है और खुद को फिट करने की कोशिश करता है, क्योंकि सवाल उसकी रोजी रोटी का होता है. कुछ ऐसा ही आजकल बिहार में देखने को मिल रहा है, जहां अपने जीवन की मध्य अवस्था में चले आने के बावजूद महिलाएं और पुरुष बिहार होम गार्ड में बहाली के लिए खुद से ही जूझ रहे है.

बता दें कि 2011 में बिहार होम गार्ड में भर्ती के लिए बहाली आई थी. उस वक्त भर्ती के लिए प्रक्रिया यह थी कि निर्धारित उम्र का जो भी अभ्यर्थी आवेदन कर सिर्फ फिजिकल की परीक्षा पास कर लेगा, उसकी नौकरी लग जाएगी. लिहाजा आवेदन देकर अभ्यर्थी फिजिकल की तैयारी करने लगे. दुख की बात यह है कि आवेदन तो ले लिया गया, लेकिन फिजिकल की परीक्षा के लिए कोई समय सीमा तय नहीं हुई.

12 साल बाद सरकार की खुली नींद!

 हैरान वाली बात यह है कि 2011 में बिहार होम गार्ड के लिए आई बहाली का फिजिकल 12 साल बाद अब यानी 2023 में लिया जा रहा है. 12 साल पहले आवेदन करने वाले अभ्यर्थी इस वक्त अपने जीवन के उस मोड़ पर आ चुके हैं, जहां उनका शरीर और बल जवानी की तुलना में बेहद कमजोर हो चुका है. जिसने 27, 28 वर्ष की उम्र में आवेदन किया था, वह इस वक्त 40 साल का हो चुका है.

नानी बन चुकी हूं, फिर भी लगा रही स्टेडियम के चक्कर

आपको बता दे कि चनपटिया प्रखंड के वृंदावन गांव की रेखा बताती हैं कि उन्होंने भी बिहार होम गार्ड के लिए 2011 में आवेदन किया था. उस वक्त जवानी में सबकुछ आसान था, लेकिन अभी आलम यह है कि शरीर साथ नहीं देता. उस वक्त मेरे बच्चे साथ में दौड़ा करते थे, आज मेरे बच्चे के बच्चे साथ में दौड़ते हैं. ठीक इसी प्रकार चनपटिया प्रखंड के पन्नालाल और प्रमोद बताते हैं कि आवेदन के समय वो जवान थे. शरीर में जोश और जुनून था, लेकिन आज उनका शरीर साथ नहीं देता है. शरीर के हर एक भाग में जगह-जगह दर्द है. ऐसे में फिजिकल की तैयारी कोई कैसे कर सकता है.