IGIMS में मरीज के पेट से निकला आठ किलो का दुर्लभ ट्यूमर, डॉ. मनीष मंडल ने अधेड़ को दिया नया जीवन

डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि यह एक अत्यंत दुर्लभ प्रकार का ट्यूमर है, जो पूरे विश्व में बहुत ही कम मामलों में मिलता है। इस तरह के ट्यूमर का निदान और उपचार चिकित्सा क्षेत्र में एक बड़ी चुनौती माना जाता है। आज विशेषज्ञ डॉक्टरों की अनुभवी टीम ने इसका सफलतापूर्वक ऑपरेशन किया, जो चिकित्सा विज्ञान की एक मात्यपूर्ण उपलब्धि है। ऑपरेशन के दौरान अत्याधुनिक तकनीक अपनाई गई, जिससे ट्यूमर को पूरी तरह सुरक्षित रूप से निकालना संभव हो सका। इस सफलता से न केवल मरीज को नया जीवन मिला है, बल्कि भविष्य में ऐसे दुर्लभ मामलों के उपचार के लिए भी आशा की किरण जगी है।

IGIMS में मरीज के पेट से निकला आठ किलो का दुर्लभ ट्यूमर, डॉ. मनीष मंडल ने अधेड़ को दिया नया जीवन
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PATNA : आज इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (आईजीआईएमएस ) पटना में सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी विभाग ने एक अदभुत और जटिल ऑपरेशन को सफलतापूर्वक संपन्न कर रोगी को नया जीवन प्रदान किया है।

इस संबंध में आईजीआईएमएस के चिकित्सा अधीक्षक एवं सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी के विभागाध्यक्ष डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि आईजीआईएमएस में बेगूसराय से एक 60 वर्षीय मरीज पेट फूलने, अपच और डकार की शिकायत लेकर सर्जिकल स्ट्रोएंटरोलॉजी विभाग के ओपीडी में आये, जिन्हें बेगूसराय के चिकित्सक ने यहां रेफर किया था। डॉ. मंडल ने बताया कि मरीज की प्रारंभिक जांच करते हुए सीटी स्कैन कराया गया। 

इस क्रम में मरीज के पेट में बड़े ट्यूमर का पता चला। मरीज के पेट में धमनियों और नसों के काफी हद तक सटे होने के कारण यह ट्यूमर ऑपरेशन के दौरान खतरनाक होने की आशंका थी। डॉ. मनीष मंडल ने विशेष तौर पर कार्डियोलॉजी, प्लमोनरी मेडिसिन विभाग एवं निश्चेतना विभाग से संपर्क कर किया और तुरंत समन्यव बैठाकर इस मरीज का आज सफल ऑपरेशन किया। 

ऑपरेशन के दौरान जो ट्यूमर बाहर आया, वह देखने में एक सिर और गर्दन के साथ धड़ जैसा प्रतीत हो रहा था। इसका वजन लगभग आठ किलो था, जो शरीर की छोटी आंत और बड़ी आंत के साथ पेट की धमनियों और नसों में खतरनाक तरीके से सटा हुआ था। तीन घंटे के जटिल ऑपरेशन के बाद इस ट्यूमर को पेट से पूर्णतः सही-सलामत तरीके से सफलतापूर्वक बाहर निकाल दिया गया और मरीज को नया जीवन प्रदान किया गया।

डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि यह एक अत्यंत दुर्लभ प्रकार का ट्यूमर है, जो पूरे विश्व में बहुत ही कम मामलों में मिलता है। इस तरह के ट्यूमर का निदान और उपचार चिकित्सा क्षेत्र में एक बड़ी चुनौती माना जाता है। आज विशेषज्ञ डॉक्टरों की अनुभवी टीम ने इसका सफलतापूर्वक ऑपरेशन किया, जो चिकित्सा विज्ञान की एक मात्यपूर्ण उपलब्धि है। ऑपरेशन के दौरान अत्याधुनिक तकनीक अपनाई गई, जिससे ट्यूमर को पूरी तरह सुरक्षित रूप से निकालना संभव हो सका। इस सफलता से न केवल मरीज को नया जीवन मिला है, बल्कि भविष्य में ऐसे दुर्लभ मामलों के उपचार के लिए भी आशा की किरण जगी है।

इस जटिल ऑपरेशन को विभागाध्यक्ष सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी विभाग मनीष मंडल के नेतृत्व में डॉ. साकेत कुमार, डॉ. अभिमन्यु, डॉ. दानिश, डॉ. सुगीत के साथ निश्चेतना विभाग के डॉ. नितिन ने सफलतापूर्वक संपन्न किया। आईजीआईएमएस के निदेशक डॉ. विन्दे कुमार, संस्थान के डीन डॉ. ओम कुमार, संस्थान के चिकित्सा अधीक्षक-2 डॉ. अमन कुमार ने इस जटिल और सफल ऑपरेशन के लिए सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी विभाग एवं निश्चेतना विभाग के चिकित्सकों की टीम को बधाई दी है।